लंबे समय से सजा काट रहे 37 कैदी होंगे रिहा, हेमंत सोरेन सरकार का बड़ा फैसला
Ranchi: राज्य के विभिन्न जेलों में लंबी अवधि की सजा काट रहे 37 कैदी खुली हवा में सांस लेंगे. मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की अध्यक्षता में सोमवार 17 फरवरी को आयोजित राज्य सजा पुनरीक्षण पर्षद की बैठक में जेल में बंद 37 कैदियों को रिहा करने पर सहमति दे दी गई है.
आपको बता दें कि कांके रोड स्थित मुख्यमंत्री आवासीय कार्यालय में आयोजित इस बैठक में आजीवन कारावास की सजा काट रहे 103 कैदियों की रिहाई से संबंधित मामले पर विचार किया गया. इसके बाद 37 कैदियों को रिहा करने पर सहमति दे दी गई. बैठक में रिहाई से संबंधित नए मामलों के साथ ही उन कैदियों के प्रस्ताव पर भी पुनर्विचार किया गया, जिन्हें झारखंड राज्य सजा पुनरीक्षण पर्षद की पिछली बैठक में खारिज कर दिया गया था. बैठक में डीजीपी अनुराग गुप्ता, गृह सचिव वंदना दादेल, मुख्यमंत्री के अपर मुख्य सचिव अविनाश कुमार, जेल आईजी सुदर्शन प्रसाद मंडल, प्रोबेशन पदाधिकारी चंद्रमौली समेत कई अन्य पदाधिकारी मौजूद थे.
रिहा होने वाले कैदियों को सरकार की कल्याणकारी योजना से जोड़ने का निर्देश
राज्य सजा समीक्षा पर्षद की बैठक में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि रिहा होने वाले कैदियों को सरकार की कल्याणकारी योजना से जोड़ा जाए. कैदियों की सामाजिक-आर्थिक और पारिवारिक पृष्ठभूमि जानना भी जरूरी है, इसलिए जेल महानिरीक्षक के साथ-साथ जिलों के एसपी को रिहा होने वाले कैदियों का ट्रैक रिकॉर्ड रखना होगा.
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को यह भी निर्देश दिया है कि रिहा होने वाले कैदियों को सरकार की कल्याणकारी योजना से जोड़ते हुए उनका जीवन कैसे सुचारू रूप से चले, इस पर भी विचार किया जाए। गौरतलब है कि राज्य की विभिन्न जेलों में जाने-अनजाने अपराध की दुनिया में प्रवेश कर चुके इन कैदियों को सजा काटते समय उनके ट्रैक रिकॉर्ड के आधार पर सजा समीक्षा के तहत रिहा किया जाता है. जिस समिति के अध्यक्ष मुख्यमंत्री हैं.
