नहीं रहें दिशोम गुरु शिबू सोरेन, झारखंड में शोक की लहर
Inlive247 desk: दिशोम गुरु शिबू सोरेन नहीं रहे. उन्होंने दिल्ली के गंगाराम अस्पताल में अंतिम सांस ली. सीएम हेमंत सोरेन ने खुद एक्स पर पोस्ट कर यह जानकारी दी. उन्होंने लिखा कि आदरणीय दिशोम गुरुजी हम सबको छोड़कर चले गए. आज मैं शून्य हो गया हूँ. शिबू सोरेन के निधन की खबर से झारखंड में शोक की लहर है.
2 अगस्त को दिशोम गुरु शिबू सोरेन के स्वास्थ्य को लेकर अस्पताल ने हेल्थ बुलेटिन जारी किया था. जारी बुलेटिन के अनुसार, शनिवार से उनकी हालत स्थिर थी. विदेशी डॉक्टरों से लगातार परामर्श लिया जा रहा था. हालांकि, उनकी हालत में कोई सुधार नहीं था. मुख्यमंत्री खुद अस्पताल में मौजूद थे और डॉक्टरों से लगातार जानकारी ले रहे थे.
आपको बता दें कि एक अगस्त (शुक्रवार) को दिशोम गुरु शिबू सोरेन की तबीयत अचानक बिगड़ गई थी, उन्हें वेंटिलेटर पर रखा गया था जिसके बाद से लगातार निगरानी चल रही थी. सूचना मिलने पर सीएम हेमंत सोरेन और कल्पना सोरेन शुक्रवार को दिल्ली के लिए रवाना हो गए. मालूम हो कि शिबू सोरेन 19 जून से दिल्ली के सर गंगा राम अस्पताल में भर्ती थे, जहां वरिष्ठ डॉक्टरों की टीम की निगरानी में उनका इलाज चल रहा था. सूत्रों के मुताबिक, उन्हें किडनी की समस्या और हल्का ब्रेन स्ट्रोक था. 81 वर्षीय शिबू सोरेन झारखंड की राजनीति में आदिवासी अस्मिता और अधिकारों के प्रतीक थे.
गुरु जी वर्तमान में राज्यसभा सांसद थे
‘दिशोम गुरु’ के नाम से मशहूर शिबू सोरेन झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) के संस्थापक और अध्यक्ष थे. उनका जन्म 11 जनवरी 1944 को रामगढ़ जिले के नेमरा गाँव में हुआ था. अपने पिता शोभराम सोरेन की हत्या के बाद उन्होंने राजनीति में प्रवेश किया. सोरेन ने झारखंड अलग राज्य आंदोलन का नेतृत्व किया, जिसके परिणामस्वरूप 2000 में झारखंड का गठन हुआ. वह तीन बार झारखंड के मुख्यमंत्री रहे और आठ बार दुमका से सांसद चुने गए. वर्तमान में वह राज्यसभा सांसद थे.