IAS मनीष रंजन को मिला नेशनल अवॉर्ड फॉर ई-गवर्नेंस, ‘झार जल योजना’ को भारत सरकार ने सराहा
Ranchi: झारखंड कैडर के आईएएस मनीष रंजन को ई-गवर्नेंस के लिए राष्ट्रीय पुरस्कार दिया गया है. मुंबई के जियो कन्वेंशन सेंटर में आयोजित कार्यक्रम में उन्हें यह पुरस्कार दिया गया. मनीष रंजन को यह पुरस्कार झारखंड में झार जल योजना के बेहतर क्रियान्वयन के लिए दिया गया है. पेयजल विभाग के सचिव के पद पर कार्यरत रहते हुए मनीष रंजन ने झारखंड में झार जल योजना का क्रियान्वयन किया था. इस कार्य के लिए भारत सरकार ने उनकी सराहना भी की थी. यह पुरस्कार देने से पहले भारत सरकार की टीम ने बिना किसी को सूचना दिए झारखंड के कई इलाकों का दौरा किया था. टीम में भारत सरकार के उप सचिव और अवर सचिव रैंक के अधिकारी शामिल थे. टीम ने बोकारो, रामगढ़, हजारीबाग और पलामू के कई इलाकों का औचक निरीक्षण कर झारखंड में जल नल योजना की स्थिति का आकलन किया था.
जानें आईएएस मनीष रंजन के बारे में
आईएएस अधिकारी डॉ मनीष रंजन झारखंड कैडर के 2002 बैच के आईएएस अधिकारी हैं. वर्तमान में मनीष रंजन झारखंड में भू-राजस्व सड़क एवं भवन निर्माण विभाग के सचिव हैं. इसके साथ ही मनीष रंजन एक लेखक भी हैं. उन्होंने सिविल सेवाओं पर कई किताबें प्रकाशित की हैं. जिन्हें लोगों से काफी सराहना मिली है.
आईएएस अधिकारी को उनके उत्कृष्ट कार्य के लिए कई बार मनरेगा उत्कृष्टता पुरस्कार, निर्मल ग्राम पुरस्कार जैसे पुरस्कारों से सम्मानित किया जा चुका है. वर्ष 2007 में राष्ट्रपति ने मनीष को लातेहार के अलौदिया पंचायत को पहली पूर्ण स्वच्छ पंचायत बनाने के लिए सम्मानित किया था. वर्ष 2008 और 2009 में प्रधानमंत्री ने उन्हें देवघर और पाकुड़ में मनरेगा में उत्कृष्ट कार्य के लिए सम्मानित किया था. आईएएस अधिकारी डॉ मनीष रंजन को वर्ष 2022 में मसूरी स्थित लाल बहादुर शास्त्री राष्ट्रीय प्रशासन अकादमी में आयोजित 16वें मिड करियर ट्रेनिंग के फेज फोर में 94 आईएएस अधिकारियों में से डायरेक्टर गोल्ड मेडल और प्रशिक्षण में प्रथम स्थान मिला है.
बेस्टसेलर लेखक हैं आईएएस डॉ मनीष रंजन
इसके अलावा आईएएस डॉ मनीष रंजन एक बेहतरीन और बेस्टसेलर लेखक भी हैं. आईएएस डॉ मनीष रंजन की आधा दर्जन से अधिक पुस्तकें भी प्रकाशित हो चुकी हैं. मनीष रंजन की पुस्तक सिविल सेवा की तैयारी कर रहे छात्रों के लिए काफी उपयोगी है. निर्णय लेना और समस्या समाधान, संचार कौशल सहित पारस्परिक कौशल, सीएसएटी भाग एक, सीएसएटी भाग दो, झारखंड का सामान्य ज्ञान उनकी लोकप्रिय पुस्तकें हैं.